तटीय इलाकों में तूफानी हवाओं के साथ हो रही भारी बारिश।
हजारों पेड़ उखड़े, कई मकान गिरे।
बिजली और संचार व्यवस्था हुई ठप।
हजारों लोगों को रेस्क्यू कर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया।
अहमदाबाद : अरब सागर से उठा चक्रवाती तूफान बिपरजोय गुजरात के कच्छ और सौराष्ट्र के तटीय इलाकों तक पहुंच गया है। 100 किमी से अधिक रफ्तार से चल रही हवाओं के साथ भारी बारिश का दौर शुरू हो गया है। गुजरात के कच्छ, मोरवी, द्वारका, जूनागढ़, राजकोट सहित कई क्षेत्र तूफान से प्रभावित हुए हैं। राहत और बचाव दलों को प्रभावित इलाकों में तैनात रखा गया है।
तटीय इलाकों में भारी नुकसान।
बिपरजॉय तूफान ने गुजरात के तटीय इलाकों में मुश्किल हालात पैदा कर दिए हैं। कच्छ सहित पूरे सौराष्ट्र में तूफानी हवाएं चलने के साथ भारी बारिश हो रही हैं। कई पेड़ जड़ से उखड़ गए हैं। बिजली के खंबे धराशाई होने से बिजली आपूर्ति ठप हो गई है। कई कच्चे मकान गिर गए हैं तो सैकड़ों मकानों के टीन शेड उड़ गए हैं। पक्के मकानों तक के खिड़की, दरवाजे और दीवारें गिरने की खबर है। मोबाइल टावरों को नुकसान पहुंचने से संचार सेवाएं भी बाधित हुई हैं। समुद्र में ऊंची – ऊंची लहरें उठने के साथ कई गांवों में समुद्र का पानी घुस गया है।
हजारों लोगों को किया गया शिफ्ट।
बिपरजॉय तूफान के कहर को देखते हुए तटीय इलाकों से हजारों लोगों को निकालकर सुरक्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है। सेना, नौसेना, एनडीआरएफ और अन्य आपदा प्रबंधन दलों को राहत व बचाव कार्यों में लगाया गया है। लोगों से घरों में रहने की अपील की गई है।
मौसम विशेषज्ञों का अनुमान है कि बिपरजोय तूफान का असर 17 जून तक रह सकता है। उसके बाद इसके कमजोर पड़ने की संभावना जताई जा रही है।