दिल्ली में कोरोना से निपटने की मुहिम तेजबसों के अंदर केमिकल का छिड़काव हो रहा
दिल्ली में कोरोना वायरस के तीन संदिग्ध सामने आने के बाद सरकार ने इस वायरस से निपटने की मुहिम तेज कर दी है. दिल्ली के सभी बस डिपो में पब्लिक ट्रांसपोर्ट की सभी बसों के अंदर डिसइनफेक्शन प्रक्रिया शुरू कर दी गई है. डीटीसी और क्लस्टर की बसों में को रोना के संक्रमण को रोकने के लिए बसों के अंदर केमिकल का छिड़काव किया जा रहा है.
आजतक के संवाददाता ने राजघाट बस डिपो के अंदर जायजा लिया, जहां पर क्लस्टर बसों के भीतर विशेष केमिकल का छिड़काव कर के संक्रमण को रोकने की कोशिश की जा रही है.
राजघाट डिपो के मैनेजर गुरमीत सिंह मारवाह ने आजतक को बताया, ज्यादातर बस डिपो के भीतर विशेष केमिकल पहुंच चुके हैं और वहां सुबह और शाम को बसों के को रोना से लड़ने के लिए स्प्रे का छिड़काव किया जा रहा है.
साथ ही अगले 24 घंटे में ज्यादातर बस डिपो में केमिकल पहुंच जाएगा और सभी बसों को भीतर छिड़काव शुरू होगा. द्वारका बस डिपो में रात को सभी बसों के कट्ठा होने के बाद स्प्रे का छिड़काव किया जाएगा.
दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल की अध्यक्षता में बनाई गई टास्क फोर्स की विशेष बैठक में यह फैसला लिया गया था कि सार्वजनिक परिवहन के सभी माध्यमों के अंदर वायरस के संक्रमण को रोकने के लिए न सिर्फ स्प्रे का छिड़काव हो, बल्कि साफ-सफाई मुस्तैद हो, जिसके तहत डीटीसी की और क्लस्टर की बसों के साथ-साथ दिल्ली मेट्रो के सभी कोच की अच्छी सफाई हो और वायरस से निपटने के लिए स्प्रे का छिड़काव हो.
टास्क फोर्स के फैसले का असर सोमवार को देखने को मिला जहां राजघाट डिपो में क्लस्टर की बसों के अंदर केमिकल का छिड़काव कर इस इंफेक्शन प्रक्रिया की शुरुआत की जा चुकी है. दिल्ली में सार्वजनिक परिवहन के बेड़े में 6000 से ज्यादा बसें हैं, जिनके अंदर इस केमिकल का छिड़काव शुरू किया जाना है.
बसों की सीट के अलावा खड़े रहकर यात्रा करने वाले मुसाफिरों द्वारा इस्तेमाल किए जाने वाले बसों के अंदर लगे खंभों और हैंगर क्लिप पर भी छिड़काव किया जा रहा है, जो हर दिन हजारों मुसाफिरों के हाथों से छुआ जाता है.
दिल्ली सरकार के सूत्रों के मुताबिक, दिल्ली मेट्रो भी सैनिटाइजेशन प्रक्रिया शुरू करने जा रही है, जिसके तहत कोच की साफ-सफाई के अतिरिक्त विशेष केमिकल के जरिए मित्रों के सभी कोच की सफाई की जाएगी, जिससे वायरस के संक्रमण का खतरा ना हो. जाहिर है कोरोना का खौफ इतना है कि सरकार कहीं भी कोई कमी नहीं छोड़ना चाहती.