कांग्रेस ने किए प्रश्नपत्र व आंसरशीट के स्क्रीनशॉट जारी,
कहा-मोबाइल जब्त कर निष्पक्ष जांच हो
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व्यापमं घोटाले में भी आया था तत्कालीन ओएसडी प्रेमप्रकाश का नाम: के.के. मिश्रा
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आखिरकार बेरोजगारों से फीस के रूप में पिछले 10 सालों में 455 करोड़
कमाने वाले व्यापमं का तीसरी बार ‘नाम’ बदलने के बाद भी क्यों
नहीं बदल पा रहा है, ‘घृणित काम’?
इंदौर/ भोपाल, 26 मार्च,2022
प्रदेश कांग्रेस महामंत्री व मीडिया प्रभारी के.के. मिश्रा ने व्यापमं के तीसरी बार बदले गए नाम ‘कर्मचारी चयन बार्ड’ द्वारा मप्र प्राथमिक पात्रता शिक्षक वर्ग-3 ली जा रही परीक्षा में प्रश्रपत्र लीक कर अयोग्य परीक्षार्थियों की पूर्व नियोजित भर्ती का गंभीर आरोप लगाया है। उन्होंने दूसरा यह भी गंभीर आरोप लगाया है कि जब परीक्षा ऑनलाइन हो रही है, इसमें मोबाइल फ़ोन पूरी तरह वर्जित है तो मुख्यमंत्री के पदस्थ मौजूदा ओएसडी लक्ष्मणसिंह मरकाम,जो नौसेना आयुध संगठन में कार्यरत थे, जिन्हें रक्षा मंत्रालय से प्रतिनियुक्ति पर लाकर उपसचिव, मप्र शासन के रूप में पदस्थ किया गया और वे आदिवासी मामलों को देख रहे हैं, के मोबाइल पर 25 मार्च को सम्पन्न 35 पृष्ठीय प्रश्नपत्र और आंसरशीट कैसे पहुची? उनका मोबाइल त्वरित जब्त कर निष्पक्ष जांच कराई जाए।
मिश्रा ने कहा कि पूर्व में भी सुर्खियों में आये घटित व्यापमं घोटाले में भी मुख्यमंत्री के शासकीय आवास में ही रह रहे तत्कालीन ओएसडी प्रेमप्रकाश का भी नाम बतौर आरोपी सामने आया था और उन्हें जिला न्यायालय, भोपाल से अग्रिम जमानत भी करवानी पड़ी थी।
मिश्रा में मुख्यमंत्री शिवराजसिंह चौहान से सादर आग्रह किया है कि वे कम से कम इस गंभीर मुद्दे की तो ईमानदारीपूर्वक व निष्पक्ष जांच करवाएं ताकि व्यापमं से लेकर मौजूदा वह कर्मचारी चयन बोर्ड जिसने 10 सालों में 455 करोड़ रु.सिर्फ बेरोजगारों से फीस के रूप में ही वसूले हैं ओऱ जो सिर्फ महाभ्रष्टाचार की शक्ल अख्तियार कर अब तक अपनी छबि तक नहीं सुधार पाया हो, वह योग्य शिक्षित बेरोजगारों के भविष्य से खिलवाड़ न कर सके।
संलग्न-प्रश्नपत्र व आंसरशीट के स्कीनशॉट और लक्ष्मणसिंह मरकाम की नियुक्ति संबंधित प्रमाण