महिला एवं बाल विकास मंत्री इमरती देवी ने आंगनवाड़ियों में बच्चों को अंडे दिए जाने को लेकर एक बार फिर सरकार की मंशा साफ कर दी है। उन्होंने कहा है कि हम भाजपा के दबाव में काम नहीं करने वाले, जो बच्चे अंडा खाते हैं, उन्हें देंगे। हमारा उद्देश्य प्रदेश से कुपोषण को खत्म करना है। इमरती देवी शुक्रवार को राजधानी में मीडिया से बात कर रही थीं।
उन्होंने रीवा की घटना पर चर्चा करते हुए कहा है कि सरकार का प्रयास रहेगा कि देश में ही बच्चे गोद दिए जाएं, विदेशों में नहीं। इसके लिए जरूरी हुआ तो सुप्रीम कोर्ट में गुहार लगाएंगे। मंत्री ने दावा किया है कि कमलनाथ सरकार के आने के बाद से प्रदेश में कुपोषण से मौत नहीं हुई।
अपने कार्यकाल का कामकाज बताने आईं मंत्री इमरती देवी ने आंगनवाड़ियों में बच्चों को अंडा दिए जाने के सवाल पर कहा कि प्रदेश में कम वजन के 42.8 फीसदी बच्चे हैं। ऐसे बच्चों को पोषक तत्व देने के लिए अंडा देना जरूरी है। मंत्री ने बताया कि प्रदेश के 313 आंगनवाड़ी केंद्रों को बाल शिक्षा केंद्र के रूप में विकसित किया जा रहा है। दूसरे चरण में 800 बाल शिक्षा केंद्र विकसित किए जाएंगे।
मंत्री ने विभाग की शुरू होने वाली विभिन्न् योजनाओं की जानकारी देेते हुए बताया कि विभाग हर दिन तीन आंगनवाड़ी केंद्रों का लोकार्पण करेगा। अति गंभीर कुपोषित बच्चों के लिए सी-सेम अभियान शुरू कर दिया है, जो दो चरणों में चलाया जाएगा। इसके तहत फॉर्म भरकर जानकारी इकट्ठी की जाएगी और सीएसएएम एप के जरिए निगरानी की जाएगी।
मंत्री ने बताया कि स्वाद पोषण एवं स्वास्थ्य सामुदायिक पोषण रसोई योजना की शुरूआत करेंगे। उन्होंने कहा कि मप्र इस स्तर पर काम करने वाला पहला राज्य होगा। इसमें 80 हजार से ज्यादा आंगनवाड़ी कार्यकर्ता शामिल होंगे। मंत्री ने बताया कि पोषण जागरूकता स्टाल अभियान शुरू किया जा रहा है। जिसमें विभाग आदिवासी क्षेत्रों में साप्ताहिक पोषण स्टाल लगाएगा।