नई दिल्ली. गूगल, ट्विटर, मेटा और अमेजन जैसी दुनिया की दिग्गज कंपनियां जहां बड़े स्तर पर धड़ाधड़ हजारों लोगों को नौकरी से निकाल (Layoffs News) रही हैं.
वहीं, एक कंपनी बंपर नौकरी देने की प्लानिंग कर रही है. ऐसे में छंटनी में नौकरी गंवा चुके लोगों के लिए ये खबर बड़ी राहत लेकर आई है. प्राइस वाटर हाउस कूपर (PWC India) ने हजारों की संख्या में वैकेंसी निकालने का ऐलान किया है.
खबर है कि कंपनी भारत में अपने बिजनेस का विस्तार करने के लिए अगले 5 वर्षों में 30 हजार नौकरियां देने की योजना बना रही है. फिलहाल देशभर में इस कंपनी के 50 हजार कर्मचारी कार्यरत हैं और पीडब्लयूसी इस तादाद को बढ़ाकर 80,000 के स्तर पर लेने जाने की प्लानिंग कर रही है.
कंपनी ने बताया पूरा प्लान
भारत में 30,000 नई भर्तियां PWC इंडिया और PWC US के एक ज्वाइंट वेंचर की ओर से की जाएगी, जिससे फर्म के बिजनेस और डेवलपमेंट में तेजी आएगी और क्वालिटी में भी सुधार होगा. कंपनी ने एक बयान में बताया कि इस एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए दोनों कंपनियों ने ज्वाइंट वेंचर में प्रवेश किया है. पीडब्ल्यूसी इंडिया ने अकेले 2022 में 3 नए कार्यालय भुनेश्वर, जयपुर और नोएडा में खोले हैं.
पीडब्ल्यूसी इंडिया ने कहा कि द न्यू इक्वेशन ग्लोबल स्ट्रैटेजी के एक हिस्से के रूप में देश की आर्थिक वृद्धि को बढ़ाने और रोजगार की अधिक संभावना पैदा करने का वादा किया है. फर्म द्वारा हायरिंग ऐसे समय में हो रही है जब ग्लोबल लेवल पर कई बड़ी कंपनियां लागत में कटौती करने के लिए अपने हजारों कर्मचारियों को छंटनी में निकाल रही है.
ये कंपनी भी करेगी 5 हजार लोगों की भर्ती
वहीं, हरित ऊर्जा कंपनी गोल्डी सोलर की सौर विनिर्माण और बिक्री-बाद की सेवाओं के क्षेत्र में अगले दो वित्त वर्षों में 5,000 लोगों की भर्ती करने की योजना है। कंपनी के प्रबंध निदेशक (एमडी) ईश्वर ढोलकिया ने यह जानकारी दी है. उन्होंने कहा, ”गोल्डी सोलर ने जमीनी स्तर पर रोजगार सृजित करने की योजना बनाई है. कौशल विकास कार्यक्रम वित्त वर्ष 2024-25 तक विभिन्न कार्यों में 5,000 से अधिक लोगों की भर्ती करने के कंपनी के लक्ष्य को हासिल करने में मदद करेगा.”
बता दें कि पिछले 2-3 महीनों में गूगल, ट्विटर, अमेजन, मेटा और माइक्रोसॉफ्ट समेत कई कंपनियों ने हजारों की तादाद में कर्मचारियों को छंटनी में नौकरी से निकाल दिया है. घटते बिजनेस और गैर जरूरी लागत को कम करने का हवाला देकर इन कंपनियों ने छंटनी की बात कही है. छंटनी के इस दौर में ऐसे कर्मचारियों को भी नौकरी गंवानी पड़ी, जिन्होने कई वर्षों तक इन कंपनियों के साथ काम किया.