नई दिल्ली, 25 अक्टूबर । विजयादशमी के मौके पर रविवार को रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह के बाद राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (एनएसए) अजीत डोभाल ने चीन को दी चेतावनी देते हुए कहा कि भारत जहां खतरा पैदा होगा, वहां लड़ाई लड़ेगा और ज्यादा से ज्यादा अच्छे लोगों के लिए लड़ेगा, स्वयं के लिए नहीं। डोभाल ने कहा कि ‘राष्ट्र’ को भारत के संतों ने बनाया है, इसलिए यह ‘राज’ समाप्त हो सकता है लेकिन ‘राष्ट्र’ कभी नहीं। इससे पूर्व आज सुबह शस्त्र पूजन के बाद रक्षा मंत्री ने चीन को चेताते हुए कहा था कि उन्हें भरोसा है कि भारतीय सेना किसी को भी देश की एक इंच भी जमीन नहीं लेने देगी।
राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार अजीत डोभाल रविवार सुबह परिवार के साथ ऋषिकेश के परमार्थ निकेतन पहुंचे परमार्थ निकेतन के अध्यक्ष स्वामी चिदानन्द सरस्वती के साथ एक कार्यक्रम में हिस्सा लिया। एनएसए अजीत डोभाल ने चीन को सख्त चेतावनी देते हुए कहा कि भारत जहां खतरा पैदा होगा वहां लड़ाई लड़ेगा।उन्होंने कहा कि हम युद्ध तो करेंगे, अपनी जमीन पर भी करेंगे और बाहर भी करेंगे लेकिन निजी स्वार्थ के लिए नहीं, परमार्थ के लिए करना पड़ेगा। हम ज्यादा से ज्यादा अच्छे लोगों के लिए लड़ेंगे, स्वयं के लिए नहीं।
उन्होंने कहा कि हम सिर्फ अपने राष्ट्र को सुरक्षित करते हैं, हम केवल अपने राज्य को सुरक्षित रखने का प्रयास करते हैं। डोभाल ने कहा कि ‘राष्ट्र’ भारत के संतों ने बनाया है और यह ‘राज’ समाप्त हो सकता है लेकिन ‘राष्ट्र’ कभी समाप्त नहीं हो सकता। प्रांगण के पीपल, वटवृक्ष और पाकड़ के विशाल पेड़ों के निहारते हुये प्रकृति रक्षा का संदेश दिया। उन्होंने कहा कि हर व्यक्ति को पेड़ -पौधों की रक्षा करनी चाहिए। उन्होंने पर्यावरण संरक्षण के लिए परमार्थ गुरुकुल के ऋषिकुमार स्वामी के प्रयासों की सराहना की। उन्होंने परमार्थ निकेतन में प्रातःकालीन यज्ञ में भी हिस्सा लिया।
इससे पूर्व रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने विजयादशमी के मौके पर रविवार सुबह बंगाल के दार्जिलिंग स्थित सुकना सैन्य कैंप में अत्याधुनिक हथियारों की पूजा की और चीन को सख्त संदेश दिया। इस अवसर पर सेना प्रमुख जनरल मनोज मुकुंद नरवणे भी उनके साथ मौजूद थे। रक्षा मंत्री ने शस्त्र पूजन के बाद मीडिया से बात करते हुए कहा, ‘भारत चाहता है कि तनाव ख़त्म हो और शांति स्थापित हो, लेकिन कभी-कभी नापाक गतिविधियां होती हैं। मैं पूरी तरह आश्वस्त हूं कि हमारी सेना भारत की एक इंच ज़मीन भी दूसरे के हाथ में नहीं जाने देगी।’ उन्होंने कहा कि हाल ही में लद्दाख में भारत-चीन सीमा पर जो कुछ भी हुआ और जिस तरह से हमारे जवानों ने बहादुरी से जवाब दिया, इतिहासकार हमारे जवानों की वीरता और साहस के बारे में सुनहरे शब्दों में लिखेंगे।