आरटीआई कि धारा 4(1)(बी) को तत्काल किया जाये लागू-सूचना आयुक्त

धारा 4 के तहत अधिक से अधिक जानकारी हो सार्वजनिक जिससे लगानी पड़े कम आरटीआई

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खासखबर अनूपपुर– सूचना का अधिकार कानून को जन-जन तक पहुचाने के लिए आयोजित किये जाने वाले नेशनल वेबिनार का 93 वां एपिसोड 3 अप्रैल को आयोजित किया गया। वेबिनार में कानून की धारा 4 को लेकर विस्तार से चर्चा हुई। सूचना आयुक्त राहुल सिंह ने रीवा संभाग और मप्र में धारा 4(1)(बी) के 17 बिंदुओं के मैनुअल लागू करवाने वाले आदेश की चर्चा की।वहीं उप्र राज्य सूचना आयुक्त अजय उप्रेती ने इसे जल्दी ही उत्तर प्रदेश में लागू करवाने के लिए कहा। प्रारम्भ में अजय उप्रेती ने धारा 4(1)(बी) के 17 बिंदुओं की विस्तार से जानकारी दी। पूर्व केन्द्रीय सूचना आयुक्त शैलेश गांधी और महिती अधिकार मंच मुंबई के संयोजक भास्कर प्रभु ने भी अपने अनुभव शेयर किए और धारा 4 को लागू करने पर बल दिया। शैलेश गांधी ने कहा कि 4(1)(बी) के साथ यह भी आवश्यक है कि सभी जानकारी धारा 4 के तहत साझा की जाय जिससे लोगों को जानकारी के लिए भटकना न पड़े। कार्यक्रम में पूर्व सूचना आयुक्त आत्मदीप ने कहा कि सूचना आयुक्तों को हर जिले में छोटे छोटे कार्यक्रम करना चाहिए और लोक सूचना अधिकारियों सहित लोक प्राधिकारियों को भी प्रशिक्षित करना चाहिए। उन्होंने बताया कि उन्होंने ऐसी दर्जनों मीटिंग ली थी जो काफी प्रभावी साबित होती थीं और जागरूकता फैलती थी। उपस्थित विषेसज्ञों ने कहा कि आरटीआई कानून किताबी ज्ञान के लिए नही बल्कि प्रैक्टिस के लिए है। जब तक जनता इसमें आगे बढ़ चढ़ कर पार्टिसिपेट नही करती तब तक हम परेशान होते रहेंगे इसलिए सभी को आरटीआई लगाकर और धारा 4 के प्रावधान अधिक से अधिक लागू किये जाएं इस पर जोर देना चाहिए। ऐसा करने से सरकार और आयोगों पर दबाब बनेगा और कानून को बल मिलेगा। कार्यक्रम का सफल संचालन एक्टिविस्ट शिवानंद द्विवेदी ने किया। सहयोगियों में अधिवक्ता नित्यानंद मिश्रा, देवेंद्र अग्रवाल,पत्रिका के वरिष्ठ पत्रकार मृगेंद्र सिंह सम्मिलित रहे। वेबिनार में देश के विभिन्न राज्यों से सैकड़ों प्रतिभागियों ने हिस्सा लिया और अपनी समस्याओं का समाधान भी पाया। उक्तआशय की जानकारी वेबीनार में सम्मिलित हुए अनूपपुर जिले के सामाजिक कार्यकर्ता और आरटीआई एक्टिविस्ट सुनील कुमार चौरसिया ने दी।

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