*✍️आयातक से निर्यातक का सफर! बजट 2025 से चीन को चुनौती:
खिलौना उत्पादन का वैश्विक केंद्र बनेगा भारत, बढ़ेगा निर्यात*
*केंद्र सरकार ने वित्त वर्ष 2025-26 के बजट में क्लस्टर विकास पर ध्यान केंद्रित करते हुए भारत को खिलौनों का वैश्विक केंद्र बनाने की योजना की घोषणा की.*
* भारत के खिलौना आयात में चीन की हिस्सेदारी वित्त वर्ष 2013 में 94 प्रतिशत से घटकर वित्त वर्ष 2024 में 64 प्रतिशत रह गई। यह परिवर्तन अंतरराष्ट्रीय खिलौना बाजार में भारत की प्रतिस्पर्धात्मकता को दर्शाता है।
* भारत का चीन से खिलौनों का आयात वित्त वर्ष 2013 में करीब 1855 करोड़ रुपये से घटकर वित्त वर्ष 2024 में करीब 355 करोड़ रुपये रह गया।
*भारत में 16,000 करोड़ रुपये का खिलौना बाजार*
* 10 साल में खिलौना विनिर्माण इकाई दोगुनी हुई
* 94% तक खिलौनों का आयात करता था भारत साल 2013 में
* 2025 में विश्व में खिलौना बाजार के 35 अरब डॉलर तक पहुंचने की संभावना
* 20 % किया गया बुनियादी सीमा शुल्क ‘मेक इन इंडिया’ नीति के तहत इंटरैक्टिव फ्लैट पैनल डिस्प्ले (आईएफपीडी) पर। पहले यह 10 प्रतिशत ही था
* 16 उपाय सुझाए गए हैं टियर-२ शहरों में बुनियादी ढांचे की उपलब्धता को बढ़ाने और उद्योगों के साथ सहयोग करने के लिए
*चीन के खिलौना बाजार की दुनिया से बादशाहत खत्म करने के लिए मोदी सरकार ने बजट 2025 में बड़ा ऐलान किया है। वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने देश को खिलौना हब बनाने का बजट पेश किया है। इससे चीन के खिलौना बाजार को बड़ा झटका लग सकता है।*
■ अब देश भर में खिलौना इंडस्ट्री को बढ़ावा मिलेगा। देश में मेक इन इंडिया खिलौने अब पूरी दुनिया के खिलौना बाजार पर राज करेंगे। भारत के इस ऐलान से चीन की टेंशन बढ़ सकती है।
■ अभी तक चीन दुनिया का सबसे बड़ा खिलौना उत्पादक देश है। दुनिया भर की खिलौना बाजारों में चीन की धमक है। मगर अब भारत चीन की खिलौना बाजारों में धमक को फीका करने जा रहा है। मोदी सरकार ने भारत को दुनिया का खिलौना हब बनाने का ऐलान किया है।
■ अभी दुनिया भर में करीब 105 बिलियन अमेरिकी डॉलर का खिलौना बाजार है। अगर भारतीय रुपये में इसका अंदाजा लगाएं तो यह 8 लाख करोड़ के करीब पहुंच जाता है। अब 2025 में दुनिया भर में खिलौना बाजार बढ़कर 131 से 135 बिलियन डॉलर तक पहुंच सकता है।
*पीएम मोदी ने दुनिया के खिलौना बाजार पर भारत का कब्जा जमाने के इरादे से देश को खिलौने का ग्लोबल हब बनाने का ऐलान बजट में कराया है। ताकि दुनिया के बढ़ते खिलौना बाजार का भारत भी फायदा उठा सके और वह चीन के आधिपत्य को चुनौती दे सके।🔰*